जींद, 31 मई . हाल ही में बिंगोमोड़ नामक एक अत्यंत खतरनाक एंड्रॉयड वायरस का पता चला है. जो उपयोगकर्ताओं के बैंक खातों को निशाना बना कर उनकी जमा राशि चुरा लेता है और उसके बाद डिवाइस को स्वयं ही नष्ट (फैक्टरी रिसेट) कर देता है.
शनिवार को एसपी कुलदीप सिंह ने बताया कि साइबर ठग एक संदिग्ध लिंक एसएमएसए ई-मेल या सोशल मीडिया के माध्यम से भेजते हैं.
जैसे ही उपयोगकर्ता उस लिंक पर क्लिक करता है, यह वायरस उसके मोबाइल, लैपटॉप या कंप्यूटर में प्रवेश कर जाता है. इसके बाद यह बैंक खातों की गोपनीय जानकारी चुरा लेता है और खाते से राशि निकाल कर खुद को डिवाइस से स्वत: हटा देता है. साथ ही डिवाइस को फैक्टरी रिसेट मोड में डाल देता है. इसी कारण इसे आत्मघाती मैलवेयर भी कहा जाता है. यह मैलवेयर इस प्रकार से प्रोग्राम किया गया है कि यह संक्रमित डिवाइस से अन्य मोबाइलों में एसएमएस के माध्यम से फैल सकता है. इसमें सेल्फ. डिस्ट्रक्टिव कोड मौजूद होता है. जो डिजिटल सबूत भी मिटा देता है. जिससे उपयोगकर्ता को अंदाजा तक नही होता कि उसके साथ क्या हुआ है.
तकनीकी रूप से घातक है बिंगोमोड
साइबर विशेषज्ञों के अनुसार बिंगोमोड एक उन्नत एंड्रॉइड रिमोट एक्सेस ट्रोजन (रेट) है. यह संक्रमित डिवाइस से बिना जानकारी के बैंक खातों तक पहुंच बना लेता है और ट्रांजेक्शन कर सकता है. यह एंड्रॉयड के मीडिया प्रोजेक्शन (एपीआई) का उपयोग करके स्क्रीनशॉट ले सकता है और 40 से अधिक कमांड को रिमोटली नियंत्रित कर सकता है.
एसपी कुलदीप सिंह ने अमजन से अपील की है कि किसी अनजान लिंक पर क्लिक न करें. अपनी बैंक डिटेल, पासवर्ड, ओटीपी जैसी व्यक्तिगत जानकारी किसी से साझा न करें. व्हाट्सअप, ई-मेल या अन्य सोशल प्लेटफार्म पर प्राप्त संदिग्ध लिंक से सावधान रहें. कोई भी साइबर ठगी की घटना होने पर तत्काल स्थानीय पुलिस स्टेशन से संपर्क करें या राष्ट्रीय साइबर हैल्पलाइन नंबर 1930 पर कॉल करेंए ताकि समय रहते उचित कार्रवाई की जा सके.
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/ विजेंद्र मराठा